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लखनऊ: यूपी के वित्त विभाग से बड़ी खबर..सूबे के खजाने के मुखिया पद पर स्थायी तैनाती लम्बित. तो लेखाकारों की पोस्टिंग की फाइल भी शासन में दबी. कारणों की तलाश जारी.
लखनऊ: यूपी में 2022 बैच के आईएएस अधिकारियों को मिली तैनाती. IAS उत्कर्ष द्विवेदी 2022 ज्वाइंट मैजिस्ट्रेट सोनभद्र बनाये गये, IAS अभिनव जे जैन 2022 ज्वाइंट मैजिस्ट्रेट मथुरा बनाये गये, IAS सुनील कुमार धनवंता 2022 ज्वाइंट मैजिस्ट्रेट आजमगढ़ बनाये गये, IAS उत्सव आनंद 2022 ज्वाइंट मैजिस्ट्रेट शाहजहांपुर बनाये गये, IAS रामेश्वर सुधाकर सबबनवाद 2022 ज्वाइंट मैजिस्ट्रेट ग़ाज़ीपुर बनाये गये, IAS प्रफुल्ल कुमार शर्मा 2022 ज्वाइंट मैजिस्ट्रेट रायबरेली बनाये गये, IAS मनमोहन मीना 2022 ज्वाइंट मैजिस्ट्रेट मुरादाबाद बनाये गये, IAS आलोक प्रसाद 2022 ज्वाइंट मैजिस्ट्रेट बहराइच बनाये गये, IAS कुमार सौरभ 2022 ज्वाइंट मैजिस्ट्रेट जौनपुर बनाये गये, IAS नेहा ब्याडवाल 2022 ज्वाइंट मैजिस्ट्रेट जालौन बनाई गयी, IAS पूजा साहू 2022 ज्वाइंट मैजिस्ट्रेट चित्रकूट बनाई गयी, IAS दीक्षा जोशी 2022 ज्वाइंट मैजिस्ट्रेट हरदोई बनाई गयी, IAS गामिनी सिंघला 2022 ज्वाइंट मैजिस्ट्रेट सुल्तानपुर बनाई गयी, IAS श्रुति शर्मा 2022 ज्वाइंट मैजिस्ट्रेट देवरिया बनाई गयी.
लखनऊ : IAS कुमार प्रशांत निदेशक समाज कल्याण की कड़ी कार्यवाही, कार्यों में लापरवाही के चलते सुल्तानपुर के ADO समाज कल्याण को निदेशक ने किया निलंबित.
लखनऊ : उत्कृष्ट कार्यों के लिए 7 जिलाधिकारी सम्मानित होंगे.राजस्व परिषद 7 जिलों के डीएम को सम्मानित केरेगा.आगरा DM भानु चंद्र गोस्वामी सम्मानित किए जाएंगेे.मिर्जापुर की डीएम प्रियंका निरंजन सम्मानित की जगाएंगी. उन्नाव DM गौरांग राठी को सम्मानित किया जगाएगा. सहारनपुर DM मनीष बंसल भी सम्मानित किए जाएंगेे. रामपुर डीएम जोगेंद्र सिंह, सुल्तानपुर की DM ज्योत्सना, जालौन डीएम राजेश कुमार पांडे को मिलेगा प्रशस्ति पत्र. घरौनी बनाने का काम दिसंबर तक शत प्रतिशत होगा पूरा. फ़िलहाल लगभग सभी जिलों में ई खतौनी का काम पूरा हो चुका है.
सीतापुर : केपी सिंह मेमोरियल इंस्टिट्यूट के नर्सिंग पेपरलीक कांड में टीसीएस के 03 अधिकारी सहित मददगार केंद्र प्रभारी पुलिस की गिरफ्त में. टीसीएस के अफसरों ने सर्वर से छेड़छाड़ कर कराया था पेपरलीक. पुलिस द्वारा इनपर उत्तर प्रदेश सार्वजनिक परीक्षा अध्यादेश 2024 सहित अन्य नियमसंगत धाराओं में दर्ज किया गया मुकदमा.
लखनऊ : चर्चित गोमती रिवरफ्रंट के मामले में न्यायिक जांच रिपोर्ट के बाद अब कैग की रिपोर्ट में भी अनियमितता सामने आई है. रिपोर्ट के अनुसार गोमती रिवरफ्रंट में मानकों को ताखपर रखकर दिए गए ठेके जिससे सरकार को करोड़ों का नुकसान हुआ है. रिपोर्ट के अनुसार ठेके देने में मानकों का अनुपालन नहीं किया गया है. निविदा आमन्तरण में फर्जी दस्तावेज भी लगाए गए. बताते चलें कि 2015 में रिवर फ्रंट को विकसित करने के लिए 656.58 करोड़ जिसको 2016 में लागत बढ़ा 1513.32 करोड़ किया गया और मार्च 2017 तक काम पूरा करने का लक्ष्य रखा गया. लेकिन लेकिन सितम्बर 2017 तक 1447.84 खर्च होने के बाद भी काम अधूरा था. इसमें कुल 662.58 करोड़ की लागत की 23 निविदा आमंत्रण सूचनाओं को प्रकाशित ही नहीं कराया गया.
2019-02-08
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